Mandi: मंडी में भारी बारिश से तबाही: फ्लैश फ्लड में 3 की मौत, उपायुक्त ने संभाली कमान

एआरबी टाइम्स ब्यूरो

मंडी। आपदा की सूचना मिलते ही उपायुक्त अपूर्व देवगन ने स्वयं ग्राउंड ज़ीरो पर पहुंचकर राहत और बचाव अभियान का नेतृत्व किया। उनके साथ विभिन्न प्रशासनिक अधिकारी भी मौके पर मौजूद रहे।

घटना के तुरंत बाद होमगार्ड के 25 जवान मौके पर पहुंचे और स्थानीय लोगों के साथ मिलकर राहत कार्य शुरू किया। उन्होंने आपदा में फंसे लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया, फंसी हुई गाड़ियों को बाहर निकाला और मार्गों को खोलने में अहम भूमिका निभाई।

मंडी में भारी बारिश से तबाही, फ्लैश फ्लड में तीन की मौत

मंडी जिला में मंगलवार तड़के लगभग 3:30 बजे हुई अत्यधिक वर्षा से भारी तबाही मची। उपायुक्त अपूर्व देवगन ने बताया कि मंडी शहर के वार्ड नंबर 5 (जेल रोड और पैलेस क्षेत्र) में फ्लैश फ्लड की घटना घटी, जिसमें तीन लोगों की मौत हो गई और एक व्यक्ति घायल हुआ। तेज बहाव में बहे चार लोगों में से तीन के शव बरामद किए जा चुके हैं, जबकि घायल व्यक्ति का इलाज ज़ोनल अस्पताल में चल रहा है। प्रशासन की ओर से मृतकों के परिजनों को ₹25,000 और घायल को ₹10,000 की त्वरित राहत राशि प्रदान की गई है।

पांच गौशालाएं क्षतिग्रस्त, 22 लोग राहत शिविर में पहुँचे

प्रारंभिक रिपोर्ट के अनुसार, पांच गौशालाएं क्षतिग्रस्त हुई हैं, हालांकि किसी भी पशु की मृत्यु नहीं हुई है। संपत्ति और वाहनों के नुकसान का आकलन किया जा रहा है। प्रभावितों के लिए गुरुद्वारे में राहत शिविर स्थापित किया गया है, जहां अब तक 22 लोगों को अस्थायी आश्रय प्रदान किया गया है। वार्ड नंबर 10 में 20 तिरपालें भी वितरित की गई हैं।

198 मिमी बारिश से बदला नाले का बहाव, रिहायशी इलाकों में जलभराव

उपायुक्त ने बताया कि मंडी में इस दौरान 198 मिमी वर्षा रिकॉर्ड की गई, जिससे एक नाले का बहाव बदल गया और कई रिहायशी क्षेत्रों में पानी भर गया। ज़ोनल अस्पताल, जेल रोड और कल्याण धाम आश्रम क्षेत्र के कई घर जलमग्न हो गए।

दमकल विभाग, पुलिस, होमगार्ड और स्थानीय नागरिकों की मदद से 32 से अधिक लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला गया।

एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय एजेंसियों ने चलाया संयुक्त राहत अभियान

राहत और बचाव कार्यों में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, फायर ब्रिगेड, लोक निर्माण विभाग और नगर निगम की टीमें लगातार जुटी हुई हैं। इसके अलावा पुलघराट और धर्मपुर क्षेत्रों में भी भूस्खलन की घटनाएं हुई हैं, हालांकि इनमें कोई जनहानि नहीं हुई है। प्रशासन स्थिति पर निरंतर नजर बनाए हुए है।

प्रभावितों ने जताया प्रशासन का आभार, शिविरों में मिल रही पूरी सुविधा

प्रभावित लोगों को गुरुद्वारे में बनाए गए राहत शिविरों में स्थानांतरित किया गया है, जहां उन्हें भोजन, आवास और प्राथमिक चिकित्सा की पूरी सुविधा उपलब्ध करवाई जा रही है।
शिविरों में रह रहे लोगों ने जिला प्रशासन, होमगार्ड, पुलिस और नगर निगम की तत्परता और मानवीय दृष्टिकोण के लिए आभार व्यक्त किया।

मंडी में तीन दिन तक पेयजल संकट की आशंका, मुख्य पाइपलाइन क्षतिग्रस्त, पंप हाउस बंद

जल शक्ति विभाग के अधिशाषी अभियंता प्रवीण गुप्ता ने जानकारी दी कि भारी वर्षा के चलते शहर में आगामी तीन दिनों तक पेयजल संकट बना रह सकता है। उहल नदी की इंटेक प्रणाली में अत्यधिक गाद जमा होने के कारण जल आपूर्ति बाधित हो गई है। मध्यानी नाले के समीप मुख्य पेयजल पाइपलाइन को भी गंभीर क्षति पहुंची है। लगातार बारिश और दुर्गम स्थल होने के कारण मरम्मत कार्य में बाधा आ रही है।

पड्डल पंप हाउस की मोटरें ठप, कई इलाकों में जल आपूर्ति बाधित

पड्डल पंप हाउस की मोटरें अत्यधिक गंदे पानी के कारण बंद हो गई हैं। बिजनी, टारना, जेल रोड, सौली खड्ड, रामनगर, पुरानी मंडी, भिउली, खलियार, सन्यारड़ी, नेला और सौलीखड्ड जैसे क्षेत्रों में पाइपलाइन टूटने की घटनाओं से जल आपूर्ति प्रभावित हुई है।

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