शिमला। हिमाचल पथ परिवहन निगम (HRTC) के पुराने बस स्टैंड स्थित मुख्यालय के बाहर एचआरटीसी ड्राइवर यूनियन से जुड़े कर्मचारियों ने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया। यूनियन के प्रधान मानसिंह ठाकुर की अगुवाई में हुई गेट मीटिंग में निगम प्रबंधन और सरकार के खिलाफ नाराज़गी जाहिर की गई।
मानसिंह ठाकुर ने स्पष्ट किया कि अगर निगम प्रबंधन एक सप्ताह के भीतर डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री से वार्ता नहीं करवाता, तो 1 अगस्त से सभी कर्मचारी सिर्फ 8 घंटे की ड्यूटी देंगे। न तो चक्का जाम किया जाएगा और न ही बसें खड़ी की जाएंगी, लेकिन इससे जनता को जो परेशानी होगी, उसकी जिम्मेदारी सरकार और निगम की होगी।
नाइट ड्यूटी भत्ता अपर्याप्त: कर्मचारी
यूनियन पदाधिकारी रंजीत ठाकुर, लतेश कुमार, धर्मवीर और पदम सिंह ने कहा कि नाइट ड्यूटी भत्ते के नाम पर एचआरटीसी द्वारा मात्र ₹130 दिए जाते हैं, जबकि ठहरने, खाने और अन्य खर्चों में ₹200 से अधिक का खर्च आता है। इसके साथ ही, चार साल से लंबित एरियर की किस्तें और मेडिकल रिइंबर्समेंट भी नहीं मिल रही है।
बीओडी बैठक में प्रस्ताव आने की उम्मीद
एचआरटीसी प्रबंधन ने कर्मचारियों को आश्वासन दिया है कि 29 जुलाई को होने वाली बीओडी (बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स) की बैठक में उनकी मांगों पर विचार किया जाएगा। कर्मचारियों को पिछले पांच वर्षों से 100 करोड़ रुपये से अधिक का ओवरटाइम और चिकित्सा भत्ता बकाया है। हालांकि निगम प्रबंधन ने तनख्वाह और पेंशन समय पर देने का आश्वासन दिया है, परंतु भुगतान की कोई निश्चित समय-सीमा निर्धारित नहीं की गई है। इस स्थिति से नाखुश कर्मचारी अब अपने हक के लिए निर्णायक कदम उठाने की तैयारी में हैं।
