एआरबी टाइम्स ब्यूरो
शिमला। एसएफआई (स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया) हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय इकाई ने आज विश्वविद्यालय के डीएस (डीन स्टूडेंट्स) को एक ज्ञापन सौंपा। इस ज्ञापन के माध्यम से संगठन ने कॉलेजों में दाखिले की अंतिम तिथि को बढ़ाने और पीएचडी दाखिलों में आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) के लिए आरक्षण लागू करने की मांग उठाई।
कॉलेज दाखिला तिथि बढ़ाने की मांग
कैंपस उपाध्यक्ष योगी ने बताया कि हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय के अधीनस्थ महाविद्यालयों में दाखिला प्रक्रिया जारी है, लेकिन आवेदन की अंतिम तिथि 19 जून तय की गई थी। इसी दिन एचपीबीओएसई द्वारा एसओएस (SOS) 12वीं का परिणाम शाम को जारी किया गया, जिससे कई छात्र समय रहते आवेदन नहीं कर सके। ऐसे छात्रों को अब दाखिले में परेशानी हो रही है।
एसएफआई ने मांग की है कि दाखिले की अंतिम तिथि को बढ़ाया जाए, ताकि वे छात्र जो किसी कारणवश आवेदन नहीं कर पाए, उन्हें भी एक मौका मिल सके।
EWS आरक्षण लागू करने की मांग
एसएफआई ने विश्वविद्यालय पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि 2019 में संविधान के 103वें संशोधन के बाद देशभर में आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) को आरक्षण देने का प्रावधान लागू हुआ, लेकिन हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय अब तक इस व्यवस्था को प्रभावी रूप से लागू नहीं कर पाया है।
संगठन ने कहा कि कई छात्र अपने अधिकारों की रक्षा हेतु उच्च न्यायालय का सहारा ले रहे हैं, फिर भी विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा रोस्टर सिस्टम में EWS आरक्षण को सम्मिलित नहीं किया गया है।
आंदोलन की चेतावनी
एसएफआई ने स्पष्ट चेतावनी दी कि यदि विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा कॉलेज दाखिले की तिथि को नहीं बढ़ाया गया और पीएचडी दाखिलों में EWS आरक्षण नहीं दिया गया, तो छात्र संगठन आंदोलन करने को विवश होगा। इस संभावित आंदोलन की जिम्मेदारी विश्वविद्यालय प्रशासन की होगी।