एआरबी टाइम्स ब्यूरो
रामपुर बुशहर। सतगुरु माता सुदीक्षा महाराज की असीम कृपा से रामपुर के कॉलेज मैदान में जोनल निरंकारी संत समागम का भव्य आयोजन किया गया। इस अवसर पर संत निरंकारी मिशन के प्रचार विभाग के कोऑर्डिनेटर हेमराज शर्मा ने सतगुरु माता जी का पावन संदेश सभी श्रद्धालुओं तक पहुँचाया।
अपने विचार व्यक्त करते हुए हेमराज शर्मा ने कहा, “मानव जन्म पाकर मोक्ष की इच्छा स्वतः नहीं होती, क्योंकि भौतिक संसार में व्यक्ति अधिकतर सांसारिक सुखों की ही तलाश करता है। परंतु संतों की कृपा से ही मानव अपने जीवन के वास्तविक उद्देश्य—ब्रह्म ज्ञान—के प्रति जागरूक होता है।”
उन्होंने कहा कि “हम परमात्मा को मानते तो हैं, पर वास्तव में जानते नहीं। जिसे जाना ही नहीं, उसे मानने का क्या अर्थ? यह तो केवल मन की कल्पना है कि भगवान हमारे सामने हैं, लेकिन जब आँख खोलते हैं तो दिखाई नहीं देते। सत्य ज्ञान वही है, जो अनुभव पर आधारित हो, और सतगुरु माता सुदीक्षा महाराज आज प्रत्येक मानव को ब्रह्म ज्ञान की अनुभूति करा रही हैं।”
हेमराज शर्मा ने आगे कहा, “इंसान के मूल लक्ष्य की प्राप्ति उसी के माध्यम से संभव है, जो स्वयं उस सत्य को जानता हो। जब एक बार परमात्मा की पहचान हो जाती है, तो जीवन में परोपकार, सहनशीलता, सुकून, दया और करुणा जैसे भाव स्वतः उत्पन्न हो जाते हैं। यह ज्ञान व्यक्ति को आत्मिक आनंद और शांति की ओर ले जाता है।”
इस समागम में शिमला, ठियोग, मंडी, रोहड़ू, चिड़गांव, चौपाल, सराहन, किन्नौर, चंडीगढ़ तथा दिल्ली से आए श्रद्धालुओं ने भजनों एवं विचारों के माध्यम से अपने आध्यात्मिक भाव प्रकट किए।
समागम के अंत में शिमला जोन के जोनल इंचार्ज कैप्टन एन.पी.एस. भुल्लर ने सभी उपस्थित संतों और श्रद्धालुओं का आभार प्रकट किया।